रिपोर्टर : विजय जेठी (पिथौरागढ़)
चाहे नेपाल की ऊपरी राजनीति कितनी भी भ्रष्ट क्यों ना हो लेकिन सीमावर्ती इलाकों में आज भी मेत्रीपूर्ण संबंध उसी प्रकार कायम है,
इसी क्रम में नेपाल सरकार के अनुरोध पर आज धारचूला का ऐतिहासिक झूला पुल फिर से खोला गया, कोरोना महामारी के चलते भारत और नेपाल को जोड़ने वाला झूला पुल बंद कर दिया गया था, लेकिन जो नेपाली मूल के निवासी भारत सरकार में पूर्व में सेवा दे चुके है। उनकी पेंशन रुकी हुई थी। इन हालातो को देखते हुए नेपाल सरकार के अनुरोध पर जिलाधिकारी पिथौरागढ़ के आदेशानुसार 8 जुलाई से लेकर 10 जुलाई तक प्रातः 9 से 1 बजे तक एवं साम 3 से लेकर 6 बजे तक लगातार पुल खोला जाएगा।
इसी क्रम में पहले दिन 8 जुलाई को 35 नेपाली पेंसिनर भारत आए, जिसमे से 12 महिलाएं थी। नेपाल की सारी जरुरते भारत के बाजार ,बैंक एवं पोस्ट ऑफिस से ही पूरी होती है। नेपाली मूल के लोगों ने भारत सरकार का दिल से धन्यवाद अदा किया है। और नेपाल की मलीन हो चुकी राजनीति के प्रति विरोध जताया।
चाहे नेपाल की ऊपरी राजनीति कितनी भी भ्रष्ट क्यों ना हो लेकिन सीमावर्ती इलाकों में आज भी मेत्रीपूर्ण संबंध उसी प्रकार कायम है,
इसी क्रम में नेपाल सरकार के अनुरोध पर आज धारचूला का ऐतिहासिक झूला पुल फिर से खोला गया, कोरोना महामारी के चलते भारत और नेपाल को जोड़ने वाला झूला पुल बंद कर दिया गया था, लेकिन जो नेपाली मूल के निवासी भारत सरकार में पूर्व में सेवा दे चुके है। उनकी पेंशन रुकी हुई थी। इन हालातो को देखते हुए नेपाल सरकार के अनुरोध पर जिलाधिकारी पिथौरागढ़ के आदेशानुसार 8 जुलाई से लेकर 10 जुलाई तक प्रातः 9 से 1 बजे तक एवं साम 3 से लेकर 6 बजे तक लगातार पुल खोला जाएगा।
इसी क्रम में पहले दिन 8 जुलाई को 35 नेपाली पेंसिनर भारत आए, जिसमे से 12 महिलाएं थी। नेपाल की सारी जरुरते भारत के बाजार ,बैंक एवं पोस्ट ऑफिस से ही पूरी होती है। नेपाली मूल के लोगों ने भारत सरकार का दिल से धन्यवाद अदा किया है। और नेपाल की मलीन हो चुकी राजनीति के प्रति विरोध जताया।



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